HTML(Hypertext Markup Language) क्या है? कितना आसान सुनाई पढता है. एक साधारण सवाल है. हाँ, साधारण लेकिन एक उपयोगी प्रश्न जो प्रत्येक HTML(Hypertext Markup Language) सीखने वाले को जानना जरूरी है. क्योंकि यह तो बुनियाद है, हम जिस भाषा में कार्य कर रहे है या चाहते है उसके बारे में तो हमें पता होना ही चाहिए. आइए, जानते है कि HTML(Hypertext Markup Language) क्या है –
HTML(Hypertext Markup Language) एक प्रोग्रामिंग भाषा है जिसे वेब डॉक्युमेंट (वेब पेज) बनाने के लिए विकसित किया गया है. HTML(Hypertext Markup Language) एक बहुत ही सरल कम्प्युटर भाषा है. इसका विकास 90 के दशक में हुआ था. HTML(Hypertext Markup Language) एक वेब पेज का आधार होती है और वेब पेज एक वेबसाईट का आधार होते है. HTML(Hypertext Markup Language) वेब डॉक्युमेंट को बनाने के किए ‘Tags’ का इस्तेमाल करती है. HTML(Hypertext Markup Language) का पूरा नाम ‘Hyper Text Markup Language’ है.
अब एक विचार जरूर आपके मन में खलबली मचा रहा होगा और ये होना भी चाहिए. लेकिन, वह क्या है? ऊपर HTML(Hypertext Markup Language) को Hypertext Markup Language कहा गया है. लेकिन ये Hypertext Markup Language है क्या? आइए, इसे भी जानते है.
लेख-सूची (Table of Contents)
Hypertext
Hypertext वह तरीका है जिसके द्वारा वेब को Explore किया जाता है. यह एक साधारण text ही होता है. लेकिन, Hypertext अपने साथ किसी अन्य text को जोड़े रखता है जिसे mouse click, touch से या key press द्वारा सक्रिय किया जाता है. इसकी यही विशेषता इसे साधारण text से अलग करती है. Hypertext को Hyperlink कहते है. HTML(Hypertext Markup Language) के Anchor (< a >) tags के द्वारा किसी भी text को Hyperlink बनाया जा सकता है. इसके अलावा, images, videos, sound आदि को भी Hyperlink बनाया जा सकता है. यह Hypermedia कहलाता है. Hypertext की एक और विशेषता होती है कि यह रेखीय (linear) नही होता है अर्थात Hypertext को किसी भी क्रम में सक्रिय किया जा सकता है.
Markup
HTML(Hypertext Markup Language) Web Document बनाने के लिए “HTML(Hypertext Markup Language) Tags” का उपयोग करती है. प्रत्येक HTML(Hypertext Markup Language) Tag अपने बीच आने वाले text को किसी प्रकार में परिभाषित करता है इसे ही Markup कहते है. “<i>” एक HTML(Hypertext Markup Language) Tag है जो अपने बीच आने वाले text को तिरछा (italic) करता है. इसे एक उदाहरण से समझते है. हम एक शब्द लेते है Webshala जिसे साधारण लिखा गया है जो हमें आम text की तरह ही सीधा “Webshala” दिखाई दे रहा है. अब हम इसे HTML(Hypertext Markup Language) के द्वारा Markup करते है. और Markup मे हम इसे तिरछा करते है. जब Webshala को इन दोनो चिन्हों <i> </i> के बीच इस तरह <i> Webshala </i> लिखा जायगा तो यह शब्द इस तरह तिरछा ” Webshala ” दिखाई देगा. अर्थात इसे तिरछा (italic) Markup किया गया है.
Language
HTML(Hypertext Markup Language) एक भाषा है क्योंकि यह Web Document बनाने के लिए code-words का इस्तेमाल करती है. जिन्हें Tags कहते है. और इन Tags को लिखने के लिए HTML(Hypertext Markup Language) का syntax भी है. इसलिए यह एक भाषा भी है. नीचे HTML(Hypertext Markup Language) का syntax दिखाया गया है- HTML(Hypertext Markup Language)_syntax
HTML(Hypertext Markup Language) syntax के तीन संभावित भाग होते है जो क्रमश: Element, Tags और Text है. HTML(Hypertext Markup Language) Element HTML(Hypertext Markup Language) Tag से मिलकर बनता है. Angel Bracket के बीच जो शब्द या अक्षर लिखा होता है इसे HTML(Hypertext Markup Language) Tag कहते है यह दो प्रकार का होता है. पहला, Opening tag और दूसरा Closing tag. और अंतिम भाग होता है text जो HTML(Hypertext Markup Language) Tag के बीच लिखा जाता है.
HTML(Hypertext Markup Language) का इतिहास
आइए अब हम HTML(Hypertext Markup Language) की दुनिया में थोड़ा पीछे चलते है और इसके इतिहास को जानने कि एक कोशिश करते है. HTML(Hypertext Markup Language) का विकास 90 के दशक में हुआ था और अभी भी जारी है. क्योंकि HTML(Hypertext Markup Language) एक लगातार विकास करने वाली भाषा है. इसके अब तक कई संस्करण आ चुके है. HTML(Hypertext Markup Language) श्री Tim Berners Lee के दिमाग की उपज है. सबसे पहले इन्होने ही HTML(Hypertext Markup Language) का उपयोग किया था. वर्तमान समय में HTML(Hypertext Markup Language) कि विकास का जिम्मा एक संस्था “World Wide Web Consortium (W3C)” के पास है. यह संस्था ही अब HTML(Hypertext Markup Language) का ख्याल रखती है. आइए जानते है अब तक आए HTML(Hypertext Markup Language) के संस्करणों के बारे में –
HTML(Hypertext Markup Language)
HTML(Hypertext Markup Language) इसका प्राथमिक संस्करण है. यह संस्करण SGML -Standart Generalized Markup Language का रूप था. इसके द्वारा text को structure किया जा सकता था. इसके लिए कुछ Tags का निर्माण किया गया था और इस संस्करण का कोई नाम नही था इसे सिर्फ HTML(Hypertext Markup Language) कहा गया. लेकिन HTML(Hypertext Markup Language) के अगले संस्करणो के नाम थे इसलिए सुविधा के लिए इस संस्करण को HTML(Hypertext Markup Language) 1.0 भी कहा जाता है. जो HTML(Hypertext Markup Language) Tags इस समय उपयोग में लिये जाते थे कुछ Tags आज भी मौजूद है जो हम HTML(Hypertext Markup Language) पर कार्य करते समय काम में लेते है.
HTML(Hypertext Markup Language) 2.0
HTML(Hypertext Markup Language) के प्राथमिक संस्करण के बाद एक समूह IETF – Internet Engineering Task Force द्वारा HTML(Hypertext Markup Language) के अगले संस्करण का नामकरण किया गया. यह HTML(Hypertext Markup Language) 2.0 संस्करण कहलाया जिसे 1995 में प्रकाशित किया गया था. इस संस्करण में कुछ नयी विशेषताएँ जोड़ि गई जिसमें ‘Image Tag’ सबसे महत्व्पूर्ण था. लेकिन अभी Internet ज्यादा लोकप्रिय नही हुआ था.
HTML(Hypertext Markup Language) 3.0
इस समय तक HTML(Hypertext Markup Language) और Internet अपनी छाप छोड चुके थे और दोनो लोकप्रिय होने लगे थे. अब पहल से ज्यादा लोग इससे जुड चुके थे. अधिक से अधिक लोग HTML(Hypertext Markup Language) सीखना चाहते थे और Internet से जुडना भी चाहते थे. इसलिए HTML(Hypertext Markup Language) के अधिक उपयोग के कारण इसमे कुछ उलझने पैदा हो गई थी. जो Standard इसमें तय किया था लोग उसमें परिवर्तन करने लगे थे. जिससे इसकी एकरूपता समाप्त होने लगी थी. इसलिए HTML(Hypertext Markup Language) का अगला संस्करण तैयार किया गया जो HTML(Hypertext Markup Language) 3.0 था लेकिन इसे कभी भी प्रकाशित नही किया गया.
HTML(Hypertext Markup Language) 3.2
HTML(Hypertext Markup Language) 1.0 के प्रकाशन और HTML(Hypertext Markup Language) 3.0 की सिफारिश तक एक संगठन का उद्भव हो चुका था, जो HTML(Hypertext Markup Language) भाषा के लिए कार्य करने के लिए बना है. इसे W3C – World Wide Web Consortium के नाम से जाना जाता है. W3C के द्वारा 1997 में HTML(Hypertext Markup Language) 3.0 की सिफारिशों के साथ HTML(Hypertext Markup Language) का अगला संस्करण HTML(Hypertext Markup Language) 3.2 का प्रकाशन किया गया. इसमें HTML(Hypertext Markup Language) के दोनों संस्करणों से ज्यादा विशेषता थी. HTML(Hypertext Markup Language) 3.2 के द्वारा अब HTML(Hypertext Markup Language) Document को और अधिक तरीके से बनाया जा सकता था. इस संस्करण में कई नये ‘Attribute’ को जोडा गया जो डॉकयुमेंट के structure से ज्यादा उसकि ‘style’ के लिए थे. लेकिन इस समय तक HTML(Hypertext Markup Language) को पढ़ने वाले यानि ‘ Browsers ‘ बहुत धीमें थे. ये अभी भी HTML(Hypertext Markup Language) 3.2 के सभी विशेषताओं को support नही करते थे.
HTML(Hypertext Markup Language) 4.0
अब Internet काफि लोकप्रिय हो चुका था. अधिक से अधिक लोग HTML(Hypertext Markup Language) सीखना चाहते थे और जो पहले से ही इससे जुड़े थे वे HTML(Hypertext Markup Language) से ज्यादा चाहने लगे. इसलिए इस gap को भरने करने के लिए HTML(Hypertext Markup Language) का अगला संस्करण HTML(Hypertext Markup Language) 4.0 का प्रकाशन किया गया. अब तक ‘Style Sheet’ भी अपना स्थान बनाने लगी थी. इसलिए इस संस्करण में कुछ और विशेषताएं जैसे; frame, script, stylesheet आदि को जोडा गया. और इसे पढने वाले Browsers भी अब कुछ advance हो चुके थे तथा HTML(Hypertext Markup Language) के अधिकतर विशेषताओं को पढ सकते थे. यह HTML(Hypertext Markup Language) के इतिहास में एक बड़ा बदलाव था.
HTML(Hypertext Markup Language) 4.01
HTML(Hypertext Markup Language) का अगला संस्करण HTML(Hypertext Markup Language) 4.01 था जो HTML(Hypertext Markup Language) 4.0 का revised संस्करण है. इसे W3C द्वारा 1999 में प्रकाशित किया गया था. आज लगभग वेबसाईट इसी संस्करण में बनी हुई है.
HTML(Hypertext Markup Language) 5
HTML(Hypertext Markup Language) का सबसे नवीनतम संस्करण HTML(Hypertext Markup Language) 5 है. इसमे HTML(Hypertext Markup Language) 4.01 कि विशेषताओं के अलावा XML कि विशेषताओं को भी जोडा गया है. यह संस्करण धीरे-धीरे अपनी पहचान बना रहा है.
[su_note note_color=”#4267b2″ text_color=”#ffffff”]Source – http://www.webshala.in/[/su_note]
Mobile chori ho gya usko khojne k liye kya Krna pdega
Sir..mujhe web designing sikhne hai is field me Kya scope hai or Kya job opportunity hai…???
Mujhe bhi sikhna hai sir blog banana
Mujhe reaply kijiye
Apka ye blog padhake muje html ki achhai jankari mili so very thanks
Aap ne abhi tak jo HTML ke bare main btaya hai. Wo bhut he issly samaj mai aya hai. Magar mujhe janna hai ki hum apne PC per HTML ka use ya koi web page kese create kar skty hai.
Please iss ke bare mai bhi hume btaye
Thank you
Regards
Manoj singh rawat
iska use Kya h mujhe smjh nhi aa rha
Bahut hi achhi post hai HTML ke bare mai
Muze bahut kuchh sikhana mila iss post se
Thanks
Blogger ko HTML ki knowledge honi chahiye, Mujhe Bhi hai par mujhse is article se kuch new seekhne ko mila ,, Thanks
Awesome post….great information about HTML
bhai apki wp theme paid hai ya free. agar paid hai toh kya price hai
Free hai..!
Great Article. Mene HTML school ke time me kiya tha. phir abhi blogspot blog ke liye use kar raha hu. HTML easy hai understand karne ke liye bhi. Thanks aapne basic jankari share ki yaha par. 🙂
Thanks #swapnil
kya mast jankari di hai aapne. sikhne me koi dikkat nahi hui. bahut bahut dhnybad :
Sir plugins update karne se koi dikkat to nahi hoti?
nahi isase apki site aur bhi fast and up to date rahti hai…!
Thanks brother jo kuch btane k bhi btane k liye
Bahut hi umda jankari pesh ki hai aapne. Is behatrin post ke liye aapka bahut bahut dhnybad.
Great informations about HTML. Thanks for sharing bro. Keep posting.
बहुत अच्छी post है, सर
Thanks #uttam ji..!
अच्छी जानकारी है, मैं एक सुझाव देना चाहुंगा आपने इस पोस्ट में HTML(Hypertext Markup Language) का बहुत ज्यादा इस्तमाल किया है| गूगल इसे स्पैम भी समझ सकता है जो आपकी साईट की रैंकिंग के लिये हानीकारक हो सकता है| हर जगह फुल फार्म देना ठीक नहीं है| आपका ब्लाग बहुत शानदार है मेहनत दिखाई देती है|
Thanks #samir for yurr valuble advice…but maine yah neturally likha hai…so koi problem nahi hogi..!
bahut hi acchi jankari, thanks bro…
Nice Post HTML ke baare mein batane ke liye dhanyabaad
Thanks #haidar..!
iska use Kya h mujhe smjh nhi aa rha